इस पोस्ट में कक्षा 12 हिंदी गद्य भाग के पाठ छ: ‘एक लेख और एक पत्र (Ek Lekh Aur Ek Patra Saransh Notes & Objective)’ के सम्पूर्ण व्याख्या को पढ़ेंगे। जिसके लेखक भगत सिंह हैं।
6. एक लेख और एक पत्र
(भगत सिंह)
प्रस्तुत लेख भगत सिंह के द्वारा लिख गया है। भगत सिंह एक महान क्रांतिकारी स्वतंत्रता सेनानी और विचारक थे। उनका जन्म 1907 ई. में लायलपुर (पाकिस्तान) में हुआ था। क्योंकि जन्म के पहले देश का बँटवारा नही हुआ था। वीर क्रांतिकारी माँ भारती के सपूत भगत सिंह देश की आजादी के लिए जंग लड़े थे और अपनी जान की कुर्बानी दी थी। उनकी पुरा परिवार स्वतंत्रता संग्राम में शामिल थे। सब कोई देश के सेवा मे लगे हुए थे। उनके चाचा भी अजित सिंह, लाल लाजपत राय के सहयोगी थे। इस तरह से उन सभी लोगों को जेल हुआ था। सभी को अंग्रेजों ने कष्ट दिया था और भगत सिंह को फाँसी की सजा दिया गया। लाहौर षड्यंत्र के केश में भगत सिंह को फांसी दिया गया था। विद्यार्थी और राजनिति के माध्यम से भगत सिंह बताते हैं कि विद्यार्थी को पढ़ने के साथ-साथ राजनीति में भी भाग लेना चाहिए। यदि कोई इसे मना कर रहा है तो समझना चाहिए कि उसको राजनीति के पिछे विरोध करने का विचार है। क्योंकि विद्यार्थी युवा होते है। उन्ही के हाथ में देश का बागडोर होता है।
भगत सिंह कहते हैं कि देश को आजाद करने में तन-मन-धन से सहयोग करना चाहिए। विद्यार्थी अलग-अलग रहते हुए भी अपने देश की अस्तित्व की रक्षा करना चाहिए। पढ़ने के साथ-साथ राजनीति का भी ज्ञान जरूर रखना चाहिए और जब जरूरत पड़े तो देश के लिए के मैदान में भी कूद पड़ना चाहिए। भगत सिंह के अनुसार ये व्यक्ति सही है जो कष्ट सहकर भी सेवा कर सकता है। देश के गुलामी की स्थिति भगत सिंह को बहुत ज्यादा डरा देती थी। वे क्रांतिकारी गतिविधियों में हिस्सा लिए लोगों को जागरूक करने के लिए लेख लिखे और संगठन बनाएं। वे जेल भी गए। ऐसे देशभक्त को आज फिर से सलामी देते है। जो हँसते-हँसते फाँसी के फन्दे पर झूल गएं। उनकी यह कुर्बानी भारतीय मानव को झकझोर दिया और आगे चलकर देश आजाद हुआ। भगत सिंह ने कहा है कि आजादी के लिए संघर्ष करते हुए मृत्यु दंड के रूप में मिलने वाली मृत्यु से सुंदर कोई मृत्यु नही हो सकता। क्योंकि यह मृत्यु आगे आनेवाली पीढ़ी में आजादी के लड़ाई के लिए एक जुनून पैदा करेगी।
वह कहते हैं कि बूढ़े व्यक्ति तथा परिवार और दुनियादारी में फंसा व्यक्ति देश के लिए अपनी जान की कुर्बानी नहीं दे सकता है। अगर इस देश के लिए अगर कोई कुर्बानी दे सकता है, तो वह इस देश का नौजवान है। इसलिए नौजवान को राजनीति में भाग लेना चाहिए।
अंततः भगत सिंह कहना चाहते है कि विद्यार्थी परिश्रम से पढ़ाई करते हुए देश की राजनीति में भी हाथ बटाएँ। वे कहते हैं कि जिस प्रकार इंग्लैंड के छात्र कॉलेज छोड़कर जर्मनी के खिलाफ लड़ने के लिए निकल पड़े उसी प्रकार भारतीय छात्रों को भी पॉलिटिक्स में हिस्सा लेने की जरूरत है। Ek Lekh Aur Ek Patra Saransh Notes & Objective
सुखदेव के नाम पत्र का सारांश
पूर्व के वर्ष में सुखदेव आत्महत्या को अत्यंत नीच और बेकार कृत्य मानते थे। जबकि भगतसिंह आत्महत्या को कायरता, निरास और सफलता से घबराया हुआ मानसिकता का परिणाम मानते हैं। जबकि सुखदेव कुछ अवस्थाओं में आत्महत्या को अनिवार्य और आवश्यक मानने लगे हैं।
लेखक कहते हैं कि जब वे देश की आजादी के लिए काम कर रहे थे तो उस समय अलग-अलग प्रकार की कठिनाइयाँ सामने आया करती थी और अगर हम उस कठिनाइयों से डरकर अपना कार्य करना बंद कर दें तो ये मानव के शरीर व्यर्थ है। हमें अपनी विश्वासों पर खड़ा होकर प्रयास करना चाहिए।
भगत सिंह कहते हैं कि जब यह आंदोलन अपना चरम सिमा पर पहूँचे तो हमें फाँसी दे दी जाए। मेरी इच्छा है कि यदि कोई सम्मानपूर्ण और उचित समझौता होना कभी संभव हो जाए, तो हमारे जैसे व्यक्तियों का मामला उसके मार्ग में कोई रूकावट या कठिनाई उत्पन्न का कारण न बनेा क्योंकि देश के भाग्य का निर्णय हो रहा हो तो व्यक्तियों के भाग्य को पूरी तरह भूला देना चाहिए।
भगत सिंह ने क्रांतिकारी साथी सुखदेव द्वारा मिल रही यातनाओं दुखी होकर लिखे गए पत्र के जवाब में लिखा था। सुखदेव ने बहुत कमजोर ढंग से कहा था कि उनकी आजादी की लड़ाई का कोई भविष्य नहीं दिखाई देता है। सुखदेव जी कहते हैं कि अब लगता है कि पूरा जीवन जेल में ही काटना पड़ेगा। भगत सिंह लिखते हैं कि क्रांति व्यक्तिगत सुख-दुःख के लिए न तो शुरू होती है और न खत्म।
BSEB Class 12 Hindi गद्य Chapter 6 Ek Lekh Aur Ek Patra Objective Questions
प्रश्न 1. ‘एक लेख और एक पत्र‘ में भगत सिंह ने किसको पत्र लिखा था?
(क) सुखदेव
(ख) राजगुरू
(ग) बिस्मिल
(घ) अशफाक खाँ
उत्तर- (क) सुखदेव
प्रश्न 2. ‘एक लेख और एक पत्र‘ शीर्षक पाठ के लेखक कौन है?
(क) भगत सिंह
(ख) चन्द्रशेखर आजाद
(ग) भगवती चरण बोहरा
(घ) चंद्रमा सिंह
उत्तर- (क) भगत सिंह
प्रश्न 3. भगत सिंह का जन्म कहाँ हुआ था?
(क) गंगा चक्क, नं. 102, घमैला ब्राँच, निहालपुर, भारत
(ख) बंगा चक्क, नं. 103, गुरैरा ब्राँच, लायलपुर, पाकिस्तान
(ग) बंगा चक्क, नं. 104, गुगैरा ब्राँच, लायलपुर, भारत
(घ) बंगा चक्क नं. 105, गुगैरा ब्राँच, लायलपुर, पाकिस्तान
उत्तर- (घ) बंगा चक्क नं. 105, गुगैरा ब्राँच, लायलपुर, पाकिस्तान
प्रश्न 4. भगत सिंह का पैतृक गाँव कहाँ था?
(क) खटकड़कलाँ, पंजाब
(ख) खटकड़कलाँ, हरियाणा
(ग) खटकड़कड़ा, अमृतसर
(घ) खड़खड़ा, पंजाब
उत्तर- (क) खटकड़कलाँ, पंजाब
प्रश्न 5. भगत सिंह के माता पिता का क्या नाम है?
(क) धनवती एवं सरदार विशन सिंह
(ख) विद्यावती एवं सरदार किशन सिंह
(ग) कलावती एवं सरदार हरकिशन सिंह
(घ) वीर जननी एवं सरदार कृष्णा सिंह
उत्तर- (ख) विद्यावती एवं सरदार किशन सिंह
प्रश्न 6. भगत सिंह के पिता और चाचा किसके सहयोगी थे?
(क) चन्द्रशेखर आजाद
(ख) बटुकेश्वर दत
(ग) लाला लाजपत राय
(घ) सुखदेव
उत्तर- (घ) सुखदेव
प्रश्न 7. भगत सिंह की कृतियाँ कौन-सी है?
(क) ‘पंजाब की भाषा तथा लिपि की समस्या, विश्वप्रेम
(ख) ‘ युवक’, मैं नास्तिक हुँ’, ‘अछूत समस्या’
(ग) ‘ विद्यार्थी और राजनीति’, ‘सत्याग्रह और हड़ताले’, ‘बम का दर्शन’, ‘भारतीय क्रांतिकारी का आदर्श’
(घ) उपर्युक्त तीनों
उत्तर- (घ) उपर्युक्त तीनों
BSEB Class 12th Hindi Ek Lekh Aur Ek Patra Saransh Notes & Objective
प्रश्न 8. भगत सिंह की लिखी पुस्तकें जो अप्राप्य है-
(क) समाजवाद का आदर्श
(ख) आत्मकथा, मौत के दनवाजे पर
(ग) भारत में क्रांतिकारी आंदोलन का इतिहास
(घ) उपर्युक्त तीनों
उत्तर- (घ) उपर्युक्त तीनों
प्रश्न 9. किसने कहा है-‘ जब देश के भाग्य का निर्णय हो रहा हो तो व्यक्तियों के भाग्य को पूर्णतया भुला देना चाहिए ।‘
(क) भगत सिंह
(ख) चन्द्रमा सिंह
(ग) सुखदेव सिंह
(घ) क्रांतिकारी सिंह
उत्तर- (क) भगत सिंह
प्रश्न 10. ‘ हस्यास्पद‘ शब्द के प्रत्यय को बताएँ ।
(क) स्पद
(ख) आस्पद
(ग) अस्पद
(घ) स्पदा
उत्तर- (ख) आस्पद
प्रश्न 11. भगत सिंह के पिता जेल कितनी बार गए थे?
(क) एकाधिक बार
(ख) एक बार
(ग) अनेक बार
(घ) अनेकानेक बार
उत्तर- (ग) अनेक बार
प्रश्न 12. भगत सिंह की पहली गिरफ्तारी कब हुई
(क) अक्टूबर, 1923 ई.
(ख) अक्टूबर, 1924 ई.
(ग) अक्टूबर, 1925 ई.
(घ) अक्टूबर, 1926 ई.
उत्तर- (घ) अक्टूबर, 1926 ई.
प्रश्न 13. भगत सिंह को फाँसी की सजा कब मिली थी?
(क) 21 मार्च, 1929 ई.
(ख) 22 मार्च, 1930 ई.
(ग) 23 मार्च, 1931 ई.
(घ) 24 मार्च, 1932 ई.
उत्तर- (ग) 23 मार्च, 1931 ई.
प्रश्न 14. किस पाठ की उक्ति है?-‘केवल कष्ट सहकर ही देश की सेवा की जा सकती है?
(क) ‘एक लेख और एक पत्र’
(ख) सिपाही की माँ
(ग) अर्द्धनारीश्वर
(घ) ओ सदानीरा
उत्तर- (क) ‘एक लेख और एक पत्र’
प्रश्न 15. किस पाठ की उक्ति है?- ‘विपतियाँ व्यक्ति को पूर्ण बनाने वाली होती है ।‘
(क) ओ सदानीरा
(ख) ‘एक लेख और एक पत्र’
(ग) प्रगीत और समाज
(घ) अर्द्धनारीश्वर
उत्तर- (ख) ‘एक लेख और एक पत्र’
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